भारतीय राज्य बिहार (Bihar) का प्राचीन नाम 'विहार' था, जिसका मतलब मठ होता है। यह भारत के पूर्वी भाग में स्थित है। क्षेत्रफल के हिसाब से बिहार भारत का बारहवां सबसे बड़ा और आबादी के मान से तीसरा सबसे अधिक जनसंख्या वाला राज्य है। बंगाल के तिकोने क्षेत्र में पहुंचने से पहले गंगा नदी इस राज्य से बहती है जिसके कारण यह राज्य वनस्पति और जीव-जन्तुओं से समृद्ध है। बिहार का वन क्षेत्र भी विशाल है जो कि 6,764 वर्ग किमी है। यह राज्य भाषाई तौर पर प्रभावकारी है क्योंकि यहां कई भाषाएं बोली जाती हैं, जैसे भोजपुरी, मैथिली, मगही, बज्जिका और अंगिका। बिहार की राजधानी पटना है, जिसका नाम पहले पाटलीपुत्र था।
भारत के कुछ महान राजाओं जैसे समुद्रगुप्त, चन्द्रगुप्त मौर्य, विेक्रमादित्य और अशोक के शासन में बिहार शक्ति, संस्कृति और शिक्षा का केन्द्र बन गया। यहां उस समय के दो महान शिक्षा केन्द्र भी थे, विक्रमशिला और नालंदा विश्वविद्यालय। बिहार में आज भी यहां के 3,000 साल पुराने इतिहास की गवाही देते कई प्राचीन स्मारक मौजूद हैं और विश्वभर के लाखों पर्यटक इन्हें देखने आते हैं। राज्य में स्थित महाबोधि मंदिर को यूनेस्को द्वारा विरासत स्थल घोषित किया गया है।
प्राचीन बिहार (Bihar) जिसका नाम मगध था ने, 1,000 सालों तक सत्ता, शिक्षा और संस्कृति के क्षेत्र में निर्णायक भूमिका निभाई। मौर्य नाम का पहला भारतीय साम्राज्य 352 ईस्वी में मगध में ही शुरु हुआ और उसकी राजधानी पाटलीपुत्र यानी आज का पटना थी। 240 ईस्वी में मगध में गुप्त साम्राज्य आया। गुप्त के नेतृत्व में भारत ने विश्व अर्थव्यवस्था पर प्रभुत्व हासिल किया। बिहार के सासाराम के महान पश्तून शासक शेर शाह सूरी ने सन् 1540 में उत्तर भारत की बागडोर संभाली। वह मुगलकाल के सबसे प्रगतिशील शासकों में से एक थे और उनके शासन में बिहार खूब फलाफूला। मुगलों के पतन के बाद बिहार बंगाल के नवाबों के नियंत्रण में आ गया।
बिहार (Bihar) की स्थिति ठीक 24ह्-20´ और 27ह्-31’ उत्तरी अक्षांश के बीच और 82ह्-19’ और 88ह्-17’ पूर्व देशांतर है। इस हिसाब से बिहार भारत के उत्तर पूर्वी भाग में स्थित है। बिहार चारों ओर से जमीन से घिरा राज्य है, यह पूर्व में पश्चिम बंगाल, पश्चिम में उत्तर प्रदेश, उत्तर में नेपाल और दक्षिण में झारखंड राज्य से घिरा है। बिहार की मिट्टी स्वाभाविक तौर पर उपजाउ है और इसकी यह विशेषताएं भारतीय-गंगा समतल क्षेत्र की गंगा जलोड़ मिट्टी के कारण हैं, पश्चिम चंपारण में दलदली मिट्टी और उत्तरी बिहार में तैराई मिट्टी मिलती है। गंगा और उसकी सहायक नदियां बिहार में पश्चिम से पूर्व की ओर बहती हैं। बिहार के उत्तर में हिमालय पर्वत है जो वास्तव में नेपाल से शुरु होता है और इसके दक्षिण में कैमूर पठार और छोटानागपुर पठार है।
आजादी के बाद से बिहार (Bihar) की सामाजिक, आर्थिक स्थिति में गिरावट का दौर रहा जिस वजह से यह देश के पिछड़े राज्यों में गिना जाने लगा। बिहार की दो प्रमुख राजनीतिक पार्टियां हैं, एनडीए जिसमें भाजपा, जनता दल शामिल हैं और राष्ट्रीय जनता दल की अगुवाई वाला गठबंधन। बेहतर प्रशासन हेतु बिहार को नौ संभागों और 38 जिलों में बांटा गया है। आजादी के बाद आपातकाल के दौरान बिहार ने जयप्रकाश नारायण के नेतृत्व में चुनाव कराकर देश को बता दिया कि वह तानाशाही की जगह लोकतंत्र को चुनने में विश्वास रखता है। बिहार में सन् 1990 में जनता दल सत्ता में आया और लालू प्रसाद यादव मुख्यमंत्री बने। हालांकि वह भी बिहार का विकास करने में विफल रहे और भ्रष्टाचार बढ़ने पर मुख्यमंत्री पद से इस्तीफा देकर अपनी पत्नी को मुख्यमंत्री बना दिया। यह वह वक्त था जब बिहार ने सारे सामाजिक पहलुओं में गिरावट देखी।
विकास के लिए शिक्षित दिमाग की आवश्यकता होती है, इसलिए शिक्षा किसी भी देश या राज्य की वर्तमान परिदृश्य को दर्शाती है। बिहार इस क्षेत्र में आगे तो बढ़ रहा है लेकिन यह अभी भी बस एक शुरुआत से ज्यादा कुछ नहीं है। आधुनिक बिहार में शिक्षा के बुनियादी ढांचे की बहुत कमी है जो मांग और आपूर्ति के बीच बहुत अंतर पैदा करती है। बिहार में शिक्षक अनुपस्थिति दर 37.8 प्रतिशत है और इसका शिक्षक-छात्र अनुपात और छात्र-कक्षा अनुपात सबसे अधिक है। बिहार में लगभग 10 प्रतिशत प्राथमिक स्कूलों में पीने हेतु साफ पानी भी नहीं है।
बिहार की ’आउट आॅफ स्कूल’ दर भी बहुत प्रभावशाली नहीं है। हालांकि धीरे-धीरे ही सही लेकिन स्थिति बेहतर हो रही है। आउट आॅफ स्कूल दर जो कि सन् 2006 में 12.8 प्रतिशत थी सन् 2007 में गिरकर 6.3 प्रतिशत हो गई। ईसाई मिशनरियों द्वारा संचालित निजी मिशनरी स्कूलों और मुस्लिम मौलवियों के मदरसों के अलावा बिहार में कई केन्द्रीय विद्यालय और जवाहर नवोदय स्कूल हैं। राज्य के ज्यादातर स्कूल बिहार विद्यालय परीक्षा मंडल के अंतर्गत आते हैं।
आजादी के बाद से बिहार की अर्थव्यवस्था कभी इतनी अच्छी नहीं रही जितनी आज है। नीतीश कुमार की सरकार ने ’न्याय के साथ विकास‘ को अपना मोटो बनाया जिससे बिहार की अर्थव्यवस्था में खासा सुधार हुआ। इसे एनडीटीवी ने ‘शांत बदलाव’ का नाम दिया। सन् 2007-08 में बिहार की प्रति व्यक्ति आय 11,615 रुपये थी। हालांकि सन् 2011-12 में यह बढ़कर 42.07 प्रतिशत हो गई। इसलिए अब भारत और बिहार की प्रति व्यक्ति आय के बीच के अंतर को खत्म करने के लिए समान वृद्धि दर बनाए रखनी होगी। बिहार की कम प्रति व्यक्ति आय की समस्या इसके विभिन्न जिलों में प्रति व्यक्ति आय की असमानता से और बढ़ी है।
बिहार (Bihar) गौतम बुद्ध और भगवान महावीर की जन्मभूमि है। इसलिए आज की बिहार की संस्कृति एक महान ऐतिहासिक अतीत की विरासत है। दीवाली के अलावा कुछ ऐसे त्यौहार हैं जो सिर्फ बिहार में ही मनाए जाते हैं। ऐसा एक त्यौहार छठ पूजा है। यहां सूर्य देवता की पूजा बहुत श्रद्धा से की जाती है। सर्दियों के महीनों में मिथिला में समा चाकेवा उत्साह से मनाया जाता है, जब हिमालय पर्वत से प्रवासी पक्षी इस क्षेत्र में आते हैं। बिहार का एक और लोकप्रिय त्यौहार मकर संक्राति है। राज्य में कई लोक गीत और नृत्य हैं जो विशेष अवसरों पर प्रदर्शित किये जाते हैं। बच्चे के जन्म के समय ‘सोहर’ गाया जाता है, शादी के वक्त ‘सुमंगली’ गाते हैं, पहले धान को बोते समय ‘कटनीगीत’ गाया जाता है और फसल की कटाई के दौरान ‘रोपनीगीत’ गाते हैं। बिहार की कुछ प्रसिद्ध लोक नृत्य शैलियां गोंड नाच, धोबी नाच, झूमर नाच, जितिया नाच आदि हैं।
बिहारी नाम बिहार और उसके पड़ोसी राज्यों में बोली जाने वाली विभिन्न भाषाओं का पर्यायवाची है। मैथिली, मगही, बज्जिका, भोजपुरी और अंगिका बिहार की प्रचलित भाषाएं है। इस तथ्य के बावजूद कि यह सभी भाषाएं बिहार में व्यापक तौर पर बोली जाती हैं, मैथिली को छोड़ कर किसी और भाषा को संवैधानिक मान्यता नहीं मिली। हिन्दी बिहार की प्रमुख भाषा है, शिक्षा और सरकारी मामलों में हिन्दी और उर्दू का उपयोग होता है। मगही भाषा का नाम मगधी प्राकृत से बना जो कि मौर्य साम्राज्य की आधिकारिक भाषा थी और भगवान बुद्ध भी इसे बोलते थे। मगही देवनागरी लिपि में लिखी जाती है। यह बिहार के आठ जिलों और झारखंड के तीन जिलों में बोली जाती है। भोजपुरी बिहार की बहुत लोकप्रिय भाषा है यह भारत की तीसरी सबसे ज्यादा बोली जाने वाली भाषा है।
बिहार (Bihar) का परिवहन नेटवर्क बहुत विशाल है और देश के बाकी हिस्सों से इसे जोड़े रखता है। बिहार में कुल 29 राष्ट्रीय राजमार्ग और कई राज्य राजमार्ग हैं, जो कि क्रमशः 2,910 किमी और 3,766 किमी लंबे हैं। बिहार राज्य पर्यटन विकास निगम कई डीलक्स और लक्ज़री बसें चलाता है जो लोगों को बिहार के मुख्य शहरों में लाती और ले जाती हैं। हाल ही में बिहार में ईज़ीकेब की तरह कार रेंटल सेवा भी शुरु हुई है। बिहार का रेल तंत्र राज्य को प्रमुख शहरों जैसे दिल्ली, मुंबई और कोलकाता से जोड़ता है। बिहार के अच्छी तरह जुड़े रेलवे स्टेशनों में पटना, मुजफ्फरनगर, दरभंगा, गया, कैथर, छपरा, बरौनी और भागलपुर हैं।
नोट :- आपको ये पोस्ट कैसी लगी, कमेंट्स बॉक्स में जरूर लिखे और शेयर करें, धन्यवाद।