हँस हँस कर - कविता

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Hans Hans Kar Hindi Rhymes
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"कविता"

सुबह उठो तो कभी न रोओ,

हाथ, आँख, मुँह पहले धोओ।

हँस-हँसकर सबको हंसाओ,

धुएं से तुम बचो-बचाओ।

धुएं से तुम बचो-बचाओ।।

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